Gunjan Saxena (The Kargil Girl) Biography Hindi | गुंजन सक्सेना बायोग्राफी

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गुंजन सक्सेना भारतीय वायुसेना की पायलट है , उन्होंने जिस अदम्य सहस का परिचय कारगिल युद्ध के दौरान दिया उस पर देश को गर्व है।  इनका जन्म लखनऊ में एक आर्मी परिवार में हुआ था। इनके पिता और भाई दोनों ही आर्मी में थे। अपनी प्रारंभिक शिक्षा पूरी करने के बाद वे स्नातक करने के लिए दिल्ली यूनिवर्सिटी के हंसराज कॉलेज में दाखिला लिया। उनका बचपन से सपना पायलट बनने का था ,इसी वजह से वे कॉलेज के साथ सफदरजंग फ्लाइंग क्लब से विमान चलने की बेसिक टिप्स सीखने लगी।

गुंजन सक्सेना बायोग्राफी

नाम (Name)गुंजन सक्सेना (Gunjan Saxena)
अन्य नामकारगिल गर्ल
जन्म (Birth)4 june 1975
जन्म स्थान (Birth Place) लखनऊ
पेशा (Profession)भारतीय एयर फोर्स पायलट
धर्म (Religion)हिन्दू
राष्ट्रीयता भारतीय
शैक्षिक योग्यतास्नातक
वैवाहिक स्थिति विवाहित

कुछ समय बाद उन्होंने एयरफोर्स ज्वाइन कर ली। वायुसेना में वे बतौर पायलट भरती हुई। वर्ष 1994 में गुंजन सक्सेना 25 लड़कियों के पहले आई ए एफ ( इंडियन एयर फाॅर्स ) ट्रेनी पाइलेट्स बैच में शामिल हुई।उन्हें उधमपुर ( जम्मू -कश्मीर ) में पोस्टेड किया गया। इसके बाद इन्होने वहॉ वायु सेना के चीता हेलीकॉटर को बारीकी से समझा और उससे पेट्रोलिंग की।

वर्ष 1999 कारगिल युद्ध छिड़ गया , कारगिल दुनिया में सबसे कठिन युद्ध क्षेत्रों में से एक है क्योकि यहाँ की भौगोलिक स्थिति बहुत कठिन है यहाँ वर्ष भर बर्फ रहती है ऊंचे – ऊंचे पहाड़ व गहरी खाइयाँ है और इन परिस्थितियों में दुश्मन पहाड़ की ऊंचाई पर बैठा था और हमारी सेना दुश्मन तक पहुंचने के लिए पहाड़ी के नीचे से चढाई करनी थी जिसमे जान का जोखिम बहुत था। यही कारण था की इस युद्ध में हमे बहुत वीर शाहिद जवानो को खोना पड़ा। इन विषम परिस्थितियों में वायु सेना के लिए भी चुनौतियां बहुत थी और इन चुनोतियो का सामना करते हुए गुंजन सक्सेना जी ने वो कर दिखाया जिस पर हर भरतीय को उन पर गर्व है।

कारगिल युद्ध में इन्होने  लेफ्टनेंट श्रीविद्या राजन के साथ भारतीय सेना के दो बड़े ऑपरेशन विजयऑपरेशन सफ़ेद सागर को सफलता पूर्वक अंजाम दिया। इन्हे ऑपरेशन विजय दिया गया जिसमे इन्हे भारतीय सेना के घायल सैनिको को हॉस्पिटल पहुंचना व उनके लिए राशन की सप्लाई करना था। इन सबके आलावा इन्हे पाकिस्तान की स्थिति पर भी नजर रखने की जिम्मेदारी दी गयी। जिसे इन्होने अपने साहस व बुद्धिमत्ता से कुशलता से अंजाम दिया।

उन्होंने अपने चीता हेलीकाप्टर से सेना को युद्ध की स्थिति में बहुत मदद की जिससे घायल सैनिकों को समय से हॉस्पिटल लाना मुमकिन हो सका। चूँकि उस इलाके पर पाकिस्तानी सैनिक राकेट लांचर व मिसाइलों से लेस थे और भारतीय सेना के हेलीकॉप्टरो देखते ही उन पर बमबारी कर रहे थेऔर कई बार उन्हें पाकिस्तानी सीमा के बहुत करीब अपना चॉपर लेकर जाना पड़ता था जिससे उन्हें  दुश्मन की स्थिति का पता चल सके। उनके चॉपर पर भी मिसाइलों से हमले किये गए लेकिन उन्होंने अपनी कुशल नेतृत्व से इन परिस्थितियों का सामना सफलता पूर्वक किया और अपने टास्क को पूरा किया।

इनके द्वारा कारगिल में किये गए अदम्य साहस के लिए इन्हे कारगिल गर्ल  के नाम से भी जाना जाता है। इन्ही की प्रेरणा लेकर आज महिलाये सेना में शामिल हो रही है और देश की सुरक्षा में कंधे से कन्धा मिलाकर अपना योगदान दे रही है। आज देश के पास महिला फाइटर पायलट भी है जो हर चुनौतियों का सामना करने के लिए तत्पर है।

पुरस्कार :

गुंजन सक्सेना द्वारा किये गए कार्यो के लिए उन्हें शौर्य चक्र से सम्मानित किया गया और वह इस पुरस्कार को पाने वाली भारत की प्रथम महिला बनी।

गुंजन सक्सेना के जीवन पर बनी बयोपिक

gunjan saxena the kargil girl movie poster

गुंजन सक्सेना पर गुंजन सक्सेना : द कारगिल गर्ल फिल्म बनी है। जिसमे इनकी भूमिका जाह्नवी कपूर ने निभाई है। इस फिल्म के निर्माता कारण जोहर है। इस फिल्म को ओ टी टी OTT प्लेट फॉर्म NETFLIX पर 12 अगस्त पर रिलीज किया गया।

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